ur-deva_tw/bible/names/babel.md

2.4 KiB

बाबुल

सच्चाई:

बाबुल मेसोपोटामिया 'इलाक़े के दक्षिण में शिन'आर मुल्क का एक अहम शहर था। शिन'आर आगे चलकर बाबुल कहलाया था।

  • किताब-ए-मुक़द्दस का शहर हाम के परपोते, नमरूद-शिनार के हुकमरान के ज़रिए' - क़ायम किया गया था।
  • शिनार के बाशिंदे घमण्ड से भरकर आसमान तक ऊँचा गुम्बद बनाना चाहते थे। इस मीनार का नाम आगे चलकर “बाबुल का गुम्मद” पड़ा था।

इस मीनार की ता'मीर करने वालों ने ज़मीन पर फैल जाने के ख़ुदावन्द के हुक्म का इनकार कर दिया था, इसलिए ख़ुदा ने उनकी ज़बानों को अलग-अलग कर दिया जिससे कि वह एक दूसरे की बात समझ नहीं पाए। इस वजह से वह मजबूर होकर एक दूसरे से अलग हो गए और ज़मीन के मुख्तलिफ़ जगहों में जाकर बस गए।

  • “बाबुल" लफ्ज़ का बुनियादी मतलब है “उलझ जाना” ख़ुदावन्द ने उनकी ज़बान में इख्तिलाफ़ पैदा कर दिया था इसलिए उस जगह का यह नाम पड़ गया था।

(तर्जुमा की सलाह : नामों का तर्जुमा कैसे करें)

(यह भी देखें: बाबुल, हाम, मिसोपोतामिया)

किताब-ए-मुक़द्दस के बारे में:

शब्दकोश:

  • Strong's: H894