hi_tq/rom/14/13.md

451 B

व्यक्तिगत मान्यता के कारण एक विश्वासी का व्यवहार दूसरे विश्वासी के साथ कैसा होना चाहिये?

व्यक्तिगत मान्यताओं के कारण भाई किसी भाई के लिए ठोकर का कारण न बने या फन्दा न बने।